one of the best loving and inspiration story

ठेस ~ one of the best loving and inspiration story
ठेस ~ one of the best loving and inspiration story

ठेस इसलिए नही लगती 
की इंसान गिर जाए
ठेस इसलिए लगती है 
ताकि इंसान संभल जाए।

एक लड़का था, उसका नाम अमन था वह मिडल क्लास family से बिलॉन्ग करता था, अभी फिलहाल उसने अपनी 12th क्लास complit की थी और collage में entry ली थी, वह एक नगर की सरकारी boys hostel में रहता था और उसकी collage उनकी हॉस्टल से पास ही थी, उसे अपनी कॉलेज जाने के लिए सिर्फ और सिर्फ एक दीवार को ही कूदना पड़ता था , 

उसे घर से निकलते वक्त सब कुछ नया नया लग रहा था, अपने आप से वादा करके निकला था कि पढ़ लिख कर बहुत अच्छा आदमी बनेगा और एक अच्छी job हासिल करेगा लेकिन यहां आकर उसे पता चला कि collage में तो कोई पढ़ने ही नहीं जाता है उसके classmates पूरी रात जगते थे और पूरा दिन सोते थे कुछ दिन अमन regularly कॉलेज गया, suddenly उसने भी कॉलेज से धीरे-धीरे बंक मारना शुरू कर दिया ,

उसकी हॉस्टल से सिर्फ कुछ ही दूरी पर नगर की दुकानें थी जहां पर वह अपने सारे दोस्तों के साथ शाम को 5:00 बजे नाश्ता करने जाता था, जिसमें वे सब Wafers और Biscuits के पैकेट लेते थे और वापस अपने hostel के ground में आकर वहां पर साथ मिलकर नाश्ता करते थे , 

एक दिन अमन की अपने दोस्तों के साथ बहस हो गई और उस दिन उसने अकेले ही नगर में जाने का फैसला किया, जब वह गुस्से से भरा नगर की ओर जा रहा था तब गड़बड़ी में अपनी गली मिस कर गया मतलब कि जिस गली से रोज वह दुकान जाता था उस गली को छोड़ कर उसने दूसरी गली पकड़ ली दोनों ही गली एक ही जगह पर जाकर रूकती थी ,


Loving and inspiration love story


गुस्से के साथ वह जा रहा था तभी एक घर के बाहर एक पत्थर रखा हुआ था जिसमें उसका पैर पड़ा और उसे बहुत गहरी ठेस लगी, ठेस की वजह से उसका नाखून निकल गया उसके मुंह से एक बहुत बड़ी चीख़ निकल गई, जैसे ही उसके मुंह से चीख़ निकली तभी उसके कानों में वैसे ही और नर्म आवाज़ की चीख़ सुनाई दी, उसने खड़े होकर देखा तो सामने जो घर था उस घर के आंगन में झूले में झूल रही एक लंबे बाल वाली लड़की सटाक से अपने घर की और दौड़ी जा रही थी ,

थोड़ी देर के लिए तो उनका ध्यान उस ठेस से हट गया, और उसकी नजर उस लड़की के लंबे बाल और उनकी चीख़ पर आकर रुक गए, जवानी थी ऐसा लगाव कोई अनजान बात नही थी, कुछ देर बाद उसे पता चला कि वह नगर के बीचो-बीच खड़ा है तभी उसने चलना शुरू कर दिया , उसे जाना था दुकान पर अपने लिए नाश्ता लाने लेकिन वह वापस hostel पहुंच गया लेकिन यह उसे hostel पहुंचने के बाद पता चला कि उसे दुकान में नाश्ता लाने के लिए जाना था ,

अगले दिन उसे वापस उसी गली के उसी घर के पास जाना था, इसीलिए वह सबसे पहले उसी hostel के 2 किलोमीटर आगे चला उसके बाद वहां से उसने नगर जाने के लिए एक रिक्शा करी और जैसे ही वह गली वह घर आया उसके कुछ कदम दूर उसने रिक्शावाले को कहा कि तुम यहीं रुको मैं अभी आता हु, वह दूर से सोंचता सोंचता आगे बढ़ रहा था की वह कौनसा घर था क्यों कि वहां पर सारे घर एक जैसे होते है,

वह इधर उधर देखता देखता आगे बढ़ ही रहा था तभी उसके वही पैर के Thumb में वापस एक ठेस लगी और उसी ठेस के साथ उसकी चीख़ निकल गई लेकिन इस बार चीख़ दर्दनाक थी क्योंकि उसी उंगली में उसे चोट लगी थी अब सोच ही सकते हैं, तभी अचानक वह लड़की आए और उसके सामने खड़े हो गई और चिल्लाकर बोली “ऐ......., तुम वही कल वाले हो ना"

जैसे ही अमन ने अपना सर उठा कर उस लड़की की ओर देखा उसकी आंखें वहीं पर थम गई, मैं कोई लेखक नहीं हूं अगर होता तो उस लड़की की खूबसूरती पर बहुत सारी line लिखता कि आखिर वह लड़की कैसी थी,

अमन उस लड़की को देखे रहा था तभी उस लड़की ने कहा “रुको 1 मिनट में तुम्हारे लिए पट्टी लेकर आती हूं" वह लड़की अपने घर में पट्टी लेने गई, पीछे से रिक्शावाला बोला कि “आगे जाना है या नहीं जाना" तभी अमन ने उसे वापस पैसा देकर भेज दिया, लड़की अंदर से आई और गुस्से भरी नज़र और आवाज के साथ उसे पट्टी दी और बोली “इसे लगा लो"

अमन ने पट्टी हाथ मे ली लेकिन नज़र उसकी तरफ़ ही थी, तभी लड़की चिल्लाकर बोली “हेलो पट्टी लगाव" अमर ने कहा “लगा तो रहा हु" लड़की बोली “लेकिन तुम्हें चोट उस पैर पर नहीं इस पैर पर  लगी है" अमन “oh ! Sorry ,

पट्टी लगाने के बाद अमन बोला “thanks मेरा नाम अमन है" लड़की “मैंने पूछा तुम्हारा नाम" अमन “Hmmm वैसे आपका नाम" लड़की ने एक मुसकुराहट के साथ कहा“very funny मैंने तुम्हें इंसानियत के नाते यह पट्टी दी है, और मुझे पता है कि तुम जैसे लड़के को में अपना नाम बताऊँगी तो सबसे पहले तुम मुझे facebook request भेजोगे उसके बाद instagram पर तुम मुझे follow करोगें और फिर twitter पर भी मुझे ढूंढोगे, उसके बाद मेरा number लेकर रोज सुबह से शाम miss you miss you का massage करोगें"

तभी ऊपर से उनकी मा ने आवाज लगाई “अम्मी" तभी लड़का बोला “थैंक यू मम्मी" और वहां से चला गया,

अगले दिन जब अमन उस गली के पास से गुजरता है तो देखता है कि अम्मी तो ग़ज़ल सुन रही थी, चंद line यहां पर लिखता हु की,


होठो से छू लो तुम,
मेरा गीत अमर कर दो,
बन जाओ मित मेरी,
मेरी प्रीत अमर करदो,

अम्मी की नज़र भी अमन की और जाती है, वो देखती है कि किस प्रकार अमन उस पत्थर के आशीर्वाद ले रहा था, यह देखकर अम्मी दौड़कर उसके पास आई और गुस्से से बोली “हेल्लो ये क्या कर रहे हो" अमन ने कहा “कुछ नही इस पत्थर को छू रहा हु" अम्मी “क्यों are you crazy" अमन “देखो तुम मुझे गलत मत समझो"

तभी अचानक पास के घर का दरवाजा खुलता है औऱ दोनों इस तरह से अलंग हो जाते है जिस तरह से बहुत सारे कबूतर किसी इंसान कि आहत सुनकर उड़ जाते है,

रोज अमन वहां से गुजरता और अम्मी भी रोज अमन के आने का वक्त होते ही झूले में झूलने लगती और कुछ देर कि यह मुलाकात अमन को चैन दे जाती, एक दिन अम्मी ने अमन को बुलाया और कहा कि देखो यह जो तुम कर रहे हो ना उसका कोई फायदा नहीं है because अगले sunday मेरे पिताजी के दोस्त का बेटा मुझे देखने आने वाला है और बरसों से मेरी शादी उसके साथ fixed है,

अमन वहां से चला जाता है और अगले sunday तक वह उस गली से नहीं गुजरता है जब sunday आता है तब वह बार-बार उस गली में देखने जाता है यह साबित करने की कहीं अम्मी ने उसे उल्लू तो नहीं बनाया, और finally शाम को पांच बजे अमन वहां जाता है तो देखता है कि उसके घर के बहार बहुत सारी bike or मोटर खड़ी होती है और घर के अंदर से खिलखिलाने की आवाज सुनाई देती है, वह सोचता है कि शायद अब मेरा यहां आने का कोई फायदा नही है,

जब वह hostel जाने के लिए मुड़ता है तो देखता है कि अम्मी किसी लड़के के साथ बाहर आती है उसके चहेरे पर एक अनकही सी मुस्कान होती है जो अमन को देखकर चली जाती है, अम्मी उस लड़के के साथ घर से बहार निकलती है उन दोनों के हाथ मे माला होती है, अम्मी की नज़र वहां से मायूसी के साथ जा रहे अमन की और होती है तभी अचानक उसके पैर में उसी पत्थर से ठेस लग जाती है,

तभी उसकी मुँह से एक चीख़ निकल जाती है जिन्हें सुनकर उसके पास खड़ा वह लड़का जो उसे देखने आया था वह कहता है कि “nonsense तुम्हे अपनी गली से भी ठीक से गुजरना नही आता है" इतना सुनते ही अमन वहां से दौड़कर आता है और अपना रुमाल निकालकर उसके पैर में बांध देता है, तभी अचानक अम्मी के पिताजी और बाकी सब बहार आते है,

वह लड़का जो अम्मी को देखने आया था वह अम्मी से सवाल करता है कि “ये कौन है तुम्हारा पड़ोसी है" तभी अम्मी गुस्से से भरी आवाज के साथ सबके सामने कहती है “नही ये मेरा पड़ोसी नही ये मेरा boyfriend है" अम्मी के पापा यह सुनकर अम्मी का चेहरा अपनी और करके कहता है “ये क्या कह रही हो तुम"

अम्मी ने कहा “सही कह रही हु पापा, जो इंसान मेरी ठेस को नही समझ सकता वो मुझे क्या समझेगा, I am sorry to say but इसके पास भले ही पैसे है intelligent है लेकिन यहां emotions है, में शादी करुँगी तो सिर्फ अमन के साथ" फिर तो क्या था

“जब मिया बीवी राजी तो क्या करेगा काजी"

अब सवाल आता है कि इस कहानी में love तो था लेकिन inspiration कहा थी, inspiration बस इतनी सी है दोस्तो की जब कभी अपनो को ठेस लगे तो उस हर एक ठेस को समझने की कोशिश करना, और ठेस मतलब पैर की ठेस ही नही होता, ठेस यानी जिंदगी की दौर में चलते चलते जो रुकावट की ठेस लगती है न दोस्तो वह वाकई बहुत दर्दनाक होती है इसे आपने भी महसूस किया होगा,

उस वक़्त आप उसके साथ हो या न हो लेकिन उसकी जहन में एक तस्वीर होनी चाहिए आपकी की जो उनसे हर फिसलते कदम पर कहती रहे कि “कुछ भी हो पहला फ़ोन मुझे ही लगाना"

बस यही थी मेरी जिंदगी में आज की सिख....